कविता

जवाब दो माँ

जवाब दो माँ - माँ, मुझे तेरे गर्भ से, गिरा दिया है, मैं, लडकी हूॅ यह

   माँ, मुझे तेरे गर्भ से
    गिरा दिया है
   मैं, लडकी हूॅ यह
   एहसास करा दिया है।
   सुना है, लडकी में माँ
   प्रतिबिंबित होती है।
   माँ ही उसे अपने गर्भ में
   संस्कारित करती है।
   पर माँ , तुम्हारी माँ के तो
   ऐसे संस्कार नहीं थे।
   यदि होते तो तुम,
   कहाॅ रह पाती जिंदा?
   फिर कैसे भूल गई माँ
   अपने संस्कारों को।
   यह तुम्हारी मर्जी थी या मजबूरी
   मुझे नहीं पता
   ल्ेाकिन इसमें मेरी ,
   क्या थी खता
   जवाब दो माँ ।

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